कुकी आतंकियों के खिलाफ कार्रवाई का रेजोल्यूशन पास

AA24.in exclusive

इंफाल ,मणिपुर में हिंसा के चलते हालात बिगड़े हुए हैं। इस बीच, सोमवार को सत्ताधारी NDA और नेशनल पीपुल्स पार्टी (NPP) के 27 विधायकों की मीटिंग हुई। इसमें रेजोल्यूशन पास हुआ कि 7 दिन में कुकी आतंकवादियों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की जाए। जिरीबाम में 6 महिलाओं-बच्चों की मौत के लिए कुकी आतंकी ही जिम्मेदार हैं।

मीटिंग में तय हुआ कि केंद्र, राज्य में लागू AFSPA का रीव्यू करेगा। राज्य सरकार ने इसका ऑर्डर 14 नवंबर को जारी किया था। जिरिबाम में 6 मैतेई महिलाओं-बच्चों और बिष्णुपुर में एक मैतेई महिला की हत्या की जांच राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) को सौंप दी गई है।

मणिपुर के 9 में से 7 जिलों में हिंसा का असर है। मणिपुर सरकार ने 7 जिलों इंफाल पश्चिम, इंफाल पूर्व, बिष्णुपुर, काकचिंग, कांगपोकपी, थौबल और चुराचांदपुर में इंटरनेट-मोबाइल सर्विस लगा बैन 20 नवंबर बढ़ा दिया।

सभी 7 जिलों स्कूल-कॉलेज और दूसरी संस्थाएं 20 नवंबर तक बंद रखने के आदेश दिए हैं। सुरक्षाबलों सड़कों पर गश्त कर रहे हैं। सीएम बीरेन सिंह के आवास और राजभवन की सुरक्षा और बढ़ाई गई है। सेंट्रल आर्म्ड पुलिस फोर्स (CAPF) की अतिरिक्त 50 कंपनियां (5 हजार जवान) मणिपुर भेजने का फैसला किया गया है।

11 नवंबर को सुरक्षाबलों ने जिरिबाम में 10 कुकी उग्रवादियों को मार गिराया था। मुठभेड़ के दौरान कुकी उग्रवादियों ने 6 मैतेई (3 महिलाओं, 3 बच्चों) को किडनैप किया था। पांच के शव 15-16 नवंबर को बरामद हुए थे, एक शव सोमवार18 नवंबर को मिला।

16 नवंबर को CM एन बीरेन सिंह और भाजपा विधायकों के घरों पर हमले हुए थे। वहीं, कुछ मंत्रियों सहित भाजपा के 19 विधायकों ने CM बीरेन सिंह को हटाने की मांग करते हुए प्रधानमंत्री कार्यालय (PMO) को पत्र लिखा

जिरिबाम जिले में 17 नवंबर की रात पुलिस की गोली से मैतेई प्रदर्शनकारी की मौत हो गई थी, जिसके बाद से हालात और बिगड़ गए। CRPF के डीजी अनीश दयाल सिंह 17 नवंबर को हिंसा का जायजा लेने के लिए मणिपुर पहुंचे।